अपनी बात
मेरी प्राचीन भारत के महान वैज्ञानिक पुस्तक प्रकाशित हो चुकी है । उस पुस्तक के साथ प्रस्तुत पुस्तक को पढ़ने से भारतीय विज्ञान के विकास की रूपरेखा ज्ञात हो जाती है । यह भी ज्ञात हो जाता है कि प्राचीन विज्ञान और आधुनिक विज्ञान में कितना अंतर है ।
हमारे प्राचीन वैज्ञानिकों ने अपने ग्रंथ संस्कृत भाषा में लिखे । आधुनिक काल के वैज्ञानिक अपने-शोध- निबंध अंग्रेजी में लिखते हैं । अत : इन वैज्ञानिकों के कृतित्व को आज की जनभाषा में प्रस्तुत करने में जो कठिनाइयाँ होती हैं, उसकी कल्पना करना कठिन नहीं है ।
पुराने संस्कृत ग्रंथों के ज्ञान को आज की भारतीय भाषाओं में समझाना उतना कठिन नहीं है । परंतु विदेशी भाषाओं में प्रस्तुत किए गए आधुनिक विज्ञान को जनभाषा में समझाने में अनेक कठिनाइयाँ हैं । आधुनिक विज्ञान अब विशेष सांकेतिक चिह्नों और पारिभाषिक शब्दों में प्रस्तुत किया जाता है ।
विषय-सूची |
||
1 |
जगदीशचंद्र बसु |
8 |
2 |
प्रफुल्लचंद्र राय |
20 |
3 |
श्रीनिवास रामानुजन |
30 |
4 |
चंद्रशेखर वेंकट रामन |
44 |
5 |
मेघनाद साहा |
58 |
6 |
सत्येंद्रनाथ बसु |
68 |
7 |
क. श्री. कुष्णन् |
76 |
8 |
सुब्रहमण्यम् चंद्रशेखर |
84 |
9 |
होमी जहाँगीर भाभा |
96 |
10 |
हरगोविंद खुराना |
106 |
अपनी बात
मेरी प्राचीन भारत के महान वैज्ञानिक पुस्तक प्रकाशित हो चुकी है । उस पुस्तक के साथ प्रस्तुत पुस्तक को पढ़ने से भारतीय विज्ञान के विकास की रूपरेखा ज्ञात हो जाती है । यह भी ज्ञात हो जाता है कि प्राचीन विज्ञान और आधुनिक विज्ञान में कितना अंतर है ।
हमारे प्राचीन वैज्ञानिकों ने अपने ग्रंथ संस्कृत भाषा में लिखे । आधुनिक काल के वैज्ञानिक अपने-शोध- निबंध अंग्रेजी में लिखते हैं । अत : इन वैज्ञानिकों के कृतित्व को आज की जनभाषा में प्रस्तुत करने में जो कठिनाइयाँ होती हैं, उसकी कल्पना करना कठिन नहीं है ।
पुराने संस्कृत ग्रंथों के ज्ञान को आज की भारतीय भाषाओं में समझाना उतना कठिन नहीं है । परंतु विदेशी भाषाओं में प्रस्तुत किए गए आधुनिक विज्ञान को जनभाषा में समझाने में अनेक कठिनाइयाँ हैं । आधुनिक विज्ञान अब विशेष सांकेतिक चिह्नों और पारिभाषिक शब्दों में प्रस्तुत किया जाता है ।
विषय-सूची |
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1 |
जगदीशचंद्र बसु |
8 |
2 |
प्रफुल्लचंद्र राय |
20 |
3 |
श्रीनिवास रामानुजन |
30 |
4 |
चंद्रशेखर वेंकट रामन |
44 |
5 |
मेघनाद साहा |
58 |
6 |
सत्येंद्रनाथ बसु |
68 |
7 |
क. श्री. कुष्णन् |
76 |
8 |
सुब्रहमण्यम् चंद्रशेखर |
84 |
9 |
होमी जहाँगीर भाभा |
96 |
10 |
हरगोविंद खुराना |
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