35 वर्ष की उमर में पहुँचने से दो महीने पहले मेरे पुराने बॉयफ्रेंड ने मुझे 20-कुछ-कुछ कानून के छात्र के रूप में अँधेरे में धकेल दिया। मेरे दिमाग में यह बात थी कि 30 साल की महिला के लिए इस दुविधा से निकलना कठिन होता है कि वह विवाह-सूत्र में बँधे या अकेली जिंदगी बिताए। मैं काफी समय तक सोचती रही और बस, सोचती ही रही।
कई दिनों तक अपने बिस्तर पर लेटी, सीलिंग फैन को घूमते हुए देखती उधेड़-बुन में लगी रही। अंततः इस नतीजे पर पहुँची कि मेरे पास दो विकल्प रह गए हैं। मैं या तो अपनी नसें गरम स्नान में काट सकती हूँ या एसालेन जाकर एक महीने का वर्क-स्टडी प्रोग्राम साइन कर सकती हूँ। कैलिफोर्निया के बिग सूर स्थित एसालेन आत्म-विकास का मक्का है। यह जानते हुए भी कि मेरा रूममेट उस समय क्या रुख अपनाएगा, मैंने एसालेन को अपने लिए चुना।
उसी मानसिक असंतुलन की स्थिति में वहाँ दूसरी रात गुजारने के बाद मैं स्टान नामक व्यक्ति से मिला, जो समुद्री फेन की दुनिया में जीता था। उसने मुझे समुद्र का वह संगीत सुनने की बात बताई, जो शाम के वक्त लहरों के चट्टानों से टकराने पर निकलता है। फिर हमने साथ-साथ एक मसाज कमरे में रात गुजारी और एक-दूसरे को गरम अनुभूति देते हुए झपकियों में खो गए। लेकिन इससे काम नहीं चला। प्रशांत महासागर की तेज तूफानी हवाएँ अप्रैल के महीने में भी इतनी बर्फीली थीं कि आपस में लिपटे होने के बावजूद दोनों शरीर की गरमी बेअसर रही और हमारा बदन शव की तरह ठंडा हो गया। फिर एक सोच मेरे मन में उभरी कि यह स्थिति निश्चय ही मुझे आत्महत्या वाली दुविधा से उबार देगी।
अगर स्टान वैसा आकर्षक नहीं होता और उस परेशानी की हालत से निजात दिलाने के लिए उसने अगर मुझे एक खाली थैले की तरह परे नहीं धकेला होता तो मैं खुद अपने को माफ नहीं कर पाती और फिर वापस इंसुलेटेड स्लीपिंग बैग में चली जाती। लेकिन मैं अगली सुबह तक यहीं रही, जब सूरज निकला और हमारे बिस्तर को पौ फटने के बाद अंतरिक्ष से आती ऊष्मा ने गरम किया। यह वही जगह थी, जहाँ हम लिपटे थे। फिर हम प्राकृतिक हीटर की ओर मुखातिब हुए और अपने बदन को गरम करते रहे। संक्षेप में यही है, जो पुस्तक के रूप में सामने है। अंतरिक्ष एक हीटर है या यों कहिए कि अदृश्य ऊर्जा स्रोत है। यह हमारे इस्तेमाल के लिए हमेशा उपलब्ध है। लेकिन हमने उधर झाँकने की जरूरत नहीं समझी। हममें से अधिकांश इस बात से बेखबर हैं कि 'अंतरिक्ष हीटर' का कोई अस्तित्व भी है। हम जिंदगी को जुए की तरह लेते हैं, जिसमें सोच-विचार की जगह नहीं।
जो लोग हमारे जीवन को गति और आकार देनेवाली अक्षय ऊर्जा से परिपूर्ण अंतरिक्ष हीटर के बारे में नहीं जानते, वे नहीं समझ सकते कि यह कैसे काम करता है। हमने अफवाह सुनी है कि प्रार्थना करते रहो और अपना काम करते रहो। लेकिन किसी को यह नहीं लगता कि कुछ निश्चित भी है। यह गुरु हमें वह मंत्र देता है। मंत्र है-योग-ध्यान की ओर आत्म-केंद्रित होने का अभ्यास। इसी ने पिछले वर्ष उलझे और भटकते विचारों को एक निश्चित दिशा दी। फिर मेरी सोच स्वच्छ और स्पष्ट हुई, मन-मस्तिष्क में तरंगें बढ़ने लगीं। कौन है, क्या है ये? क्या ऊर्जा सिद्धि वास्तव में उलझी हुई और रहस्यमय है? और यह सिर्फ कभी-कभी क्यों काम करता है? यह अबूझ और दुःखद है। निश्चित रूप से आप अपने पास कुछ भी रख नहीं सकते। तो फिर यह क्या है? इसमें मैं यह सुझाव देना चाहूँगी कि यह अदृश्य ऊर्जा क्षेत्र शत-प्रतिशत भरोसेमंद है। गणित के सिद्धांत और भौतिक विज्ञान के नियम की तरह यह हमेशा काम करता है। दो और दो जोड़कर चार ही होता है। नीचे से उछाली गई गेंद हमेशा नीचे ही गिरती है। आपका हर विचार शारीरिक यथार्थ को प्रभावित करता है।
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